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मंगलवार, अक्तूबर 12, 2010

महफ़ूज़ खतरे से बाहर

जो भी कुछ महफ़ूज़ के साथ घटा वो  समाज के लिये शर्मनाक़ है इसमें कोई दो राय नहीं. सभी चिंतित हैं. कल तय शुदा सरकारी  प्रसारण के चलते आज़ मुझे रिकार्डिंग पर जाना था . रिकार्डिंग रूम में घुस ही रहा था की ललित जी जी ने अपुष्ट खबर की मुझसे पुष्टि चाही. किंतु तब सम्भव न था फ़िर भी फ़ोन बुक में मौज़ूद नम्बर्स पर सीधे महफ़ूज़ को काल किया कोई बात न हो सकी. पाबला जी से चर्चा हुई पर पुष्टि नहीं हम भगवान से प्रार्थना कर रहे थे कि वो खबर झूठी हो . परंतु खबर सच निकली अब संतोष इस बात का है कि उनके शरीर से गोलियां निकाल दी गईं है  वे बात कर पा रहें है शिवम मिश्रा जी ने बताया वे बता रहे थे कि :-"तीन जगह गोली लगी "
कल से आज़ तक सब बेचैन पागल से उनकी बेहतरी की दुआ कर रहे हैं . हो भी क्यों न सबका अपना सा है महफ़ूज़. आराधना चतुर्वेदी "मुक्ति",इंदु  पूरी  गोस्वामी संगीता  पूरी ,अजय  झा  ,पद‍्म सिंह Padm Singh ,प्रतिभा  कटियार  ,प्रशांत  प्रियदर्शी  ,ललित शर्मा -,राजीव  ओझा  ,आराधना चतुर्वेदी "मुक्ति" ,Dr. Mahesh Sinha ,शिवम्  मिश्रा  ,अनूप शुक्ला - प्रवीण त्रिवेदी  ,  

आ भा  मिश्र ,विवेक  रस्तोगी  ,शरद कोकास,रश्मि  रविजा  ,समीर  लाल ,Swapna Shail,Dr RC Mishra ,Satish Saxena ,Shivam Misra, राज भाटिय़ा . शिखा वार्षणेय सहित सारा ब्लॉग जगत स्तब्ध है और दुआ कर रहा है 

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