24.8.11

डा० अमर कुमार को विनत श्रद्धांजलियां


          उनकी आवाज़ाही व्यस्तता की  विवषता और कमज़ोर स्वास्थ्य के बावज़ूद ब्लाग पे आना जाना जारी रखते थे.
          मिसफ़िट पर आना उनकी आदत में था ऐसा नहीं कि डाक्टर साब केवल फ़ालो किए ब्लाग पर ही जाते थे.. 
ब्लाग्स जो वे फ़ालो करते थे 

सास बहु 


अमर जी के लिये 
   मेरे मन की ब्लाग पर अर्चना चावजी , 

5 टिप्‍पणियां:

दिगम्बर नासवा ने कहा…

Bhaavnhini Shradhaanjali....

Unknown ने कहा…

उनसे मिलने का सौभग्य मुझे कभी नहीं मिला, लेकिन मैं जिस व्यक्ति से एक बार मिलने का प्रबल इच्छुक था उसके असामयिक निधन से दुखी हूँ ...

विनम्र श्रद्धांजलि !

Archana Chaoji ने कहा…

विनम्र श्रद्धांजली...

भारतीय नागरिक - Indian Citizen ने कहा…

बड़ी क्षति हुई है ब्लाग जगत को. डाक्टर साहब बढ़िया लिखते थे और सच्ची बात लिखते थे..

बाल भवन जबलपुर ने कहा…

डाक्टर साहब को ब्लाग जगत में कुछ पीढ़ा भी झेलनी पड़ी थी..

मेरे बारे में

मेरी फ़ोटो
जन्म- 29नवंबर 1963 सालिचौका नरसिंहपुर म०प्र० में। शिक्षा- एम० कॉम०, एल एल बी छात्रसंघ मे विभिन्न पदों पर रहकर छात्रों के बीच सांस्कृतिक साहित्यिक आंदोलन को बढ़ावा मिला और वादविवाद प्रतियोगिताओं में सक्रियता व सफलता प्राप्त की। संस्कार शिक्षा के दौर मे सान्निध्य मिला स्व हरिशंकर परसाई, प्रो हनुमान वर्मा, प्रो हरिकृष्ण त्रिपाठी, प्रो अनिल जैन व प्रो अनिल धगट जैसे लोगों का। गीत कविता गद्य और कहानी विधाओं में लेखन तथा पत्र पत्रिकाओं में प्रकाशन। म०प्र० लेखक संघ मिलन कहानीमंच से संबद्ध। मेलोडी ऑफ लाइफ़ का संपादन, नर्मदा अमृतवाणी, बावरे फ़कीरा, लाडो-मेरी-लाडो, (ऑडियो- कैसेट व सी डी), महिला सशक्तिकरण गीत लाड़ो पलकें झुकाना नहीं आडियो-विजुअल सीडी का प्रकाशन सम्प्रति : संचालक, (सहायक-संचालक स्तर ) बालभवन जबलपुर

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